खगोलीय समय अनुसार मंगल देव 24 अप्रैल, 2024 से मीन राशि में रहने के पश्चात 1 जून, 2024 को अपनी स्वयं की राशि मेष में प्रवेश कर चुके है। जिसके प्रभाव से कुछ राशियों में शुभ तथा अन्य राशियों पर अशुभ प्रभाव अपनी स्थिति अनुसार प्रदान करेंगे। सभी बारह राशियों पर इसके प्रभाव इस प्रकार होंगे।
मेष
राशि स्वामी मंगल स्वंय अपनी राशि में स्थित होकर पिछले समय से शरीर में बेहतर ऊर्जा का संचार करेंगे परंतु एकादश भाव में स्थित शनि की दृष्टि की वजह से कुछ आलस का अनुभव भी करेंगे। व्यापार व्यवसाय से धन की आपूर्ति सही रहेगी। पिछले कई दिनों से अचानक एक के बाद एक खर्चों में थोड़ी कमी अवश्य लाएंगे। रुके हुए कार्य के पूर्ण होने से मन में संतोष रहेगा, धन आसानी से आपकी और आकर्षित होगा। शुभ फलों की वृद्धि के लिए हनुमानजी को मंगलवार सूर्योदय के समय लाल गुलाब, लाल चुन्नी और हनुमान सिंदूर अर्पित करें।
वृष
द्वादश भाव में मंगल आपके खर्चों को बढ़ाएगा तथा अचानक एक समस्या खत्म होते ही दूसरी समस्या हावी होगी जिसके चलते खर्चे बढ़ सकते है। साथ ही शुक्र, गुरु और बुध की आपकी राशि पर होने से व्यापार भी सही गति से चलेगा जो कि आपके धनाभाव को दूर करेगा। किसी वजह से बदनामी का भय अवश्य होगा। इस समय सभी कामों में आप अपना स्वार्थ अवश्य खोजेंगे। कहीं जाने पर सफलता कम मिलने की संभावना बनती है। हो सके तो यात्रा को अभी टालें। शुभ फलों की वृद्धि के लिए शुक्रवार लक्ष्मी जी को खीर, सफेद मिश्री सहित गुलाब के फूलों को अर्पित करें।
मिथुन
एकादश भाव में स्थित मंगल पर शनि की दृष्टि होने पर भी आय में वृद्धि संभव है। सभी तरह से लाभ मिलने का समय है परंतु प्रेमी जोड़ों के लिए डेढ़ महीने प्रतिकूल है जिसके चलते प्रेमी से अनबन या बिछोह होने की संभावना बनेगी। विवाहित जोड़ियों के लिए संतान से अनबन या उनसे संतुष्टि में कमी होगी। कुछ महँगी चीजों की खरीद फरोख्त से खर्चे भी बढ़ेंगे। धन के मामले में सावधानी बरतने से परिस्थिति अनुकूल रह सकती है। शुभ फलों की वृद्धि के लिए शुक्लपक्ष के चतुर्थी को गणपति को बेल पत्र, सिंदूर पांच मोतीचूर के लड्डू या पांच मोदक अवश्य चढ़ाएं।
कर्कट
कार्य में सफलता मिलेगी परंतु मन में किसी कारणवश क्रोध की भावना रहेगी। घर में किसी से अनबन की संभावना बन रही है। क्रोध पर नियंत्रण रखें तथा व्यर्थ विवाद से बचें। कार्य क्षमता में वृद्धि होने से मेहनत में कोई कमी नही आएगी जिसके चलते लाभ मिलने के आसार बन रहें है। साथ ही एकादश भाव में बुध, शुक्र और गुरु के होने से व्यापार में अच्छे परिणाम देखने को मिलेंगे या किसी अन्य सूत्र से धन लाभ के आसार प्रबल है। शुभ फलों की वृद्धि के लिए शुक्लपक्ष के त्रयोदशी तिथि की सुबह भोलेनाथ को बेल पत्र के साथ गन्ने के रस अर्पित करें।
सिंह
नवम भाव में स्वयं की राशि में मंगल भाग्य को अनुकूल बनाए रखेगा जिसके चलते आपके सभी काम सही ढंग से पूरे होते चले जायेंगे। कार्यों में सफलता से मन में सुकून बेशुमार होगा। अशुभ दशा से पीड़ित न होने पर ये समय आपके लिए अनुकूल साबित होगा। धन लाभ के स्थिति बनेगी तथा कुछ दिनों पश्चात विशेष धन लाभ होगा। शुभ फलों की वृद्धि के लिए स्नान के पश्चात रविवार सूर्योदय के समय पूर्व दिशा की मुख करके सूर्य तांबे के पात्र से जल अर्पित करें।
कन्या
अष्टम भाव में स्थित मंगल कन्या राशिवालों के लिये अनिष्टकारी साबित होता है जिसके चलते चोट या दुर्घटना का भय सताता है जिसके चलते वाहन चलाते समय अधिक सावधानी बढ़ते। कुटुम्ब में अनबन की स्थिति होगी परंतु भाग्य का साथ मिलना शुरू होने के कारण सभी अशुभता और दुर्भाग्य दूर होंगे। इस समय आप किसी नए काम या व्यापार के योजना बना सकते है जिसमे सफलता की गुंजाइश अधिक रहेगी। शुभ फलों की प्राप्ति के लिए श्री दुर्गा माता को नारियल शुक्लपक्ष की नवमी तिथि को सुबह चढ़ाएं ।
तुला
सप्तम भाव में मंगल का गोचर व्यापार संबंधी मामलों में शुभ फल देने वाला होगा। शनि दृष्ट मंगल होने से पत्नी या प्रेमी से अनबन होने से प्रतिकुल प्रभाव पड़ेगा। धन के विषय में शुभता बनाएं रखेगा और स्वदिष्ट भोजन का आनंद भी प्रदान करेगा। आलस कि वृद्धि से फायदे वाले अवसर को न छोड़े। शुभ फलों की प्राप्ति के लिए शुक्रवार लक्ष्मी जी को खीर, सफेद मिश्री सहित गुलाब के फूलों को अर्पित करें। शुक्रवार को ही श्री सूक्त का शाम को पाठ करें।
वृश्चिक
ये समय काम काज के लिहाज से ठीक रहेगा। धन लाभ होगा साथ ही कुछ आवश्यक खर्चों के चलते परेशान भी रहेंगे। व्यापार संबंधी मामलों में सुबह फलों की प्राप्ति होगी तथा जीवन साथी से मधुर संबंध बनेंगे जिसके चलते मानसिक रूप से कष्ट मुक्त होंगे। धन लाभ की स्थिति भी बनती हुई दिखाई दे रही है। बेहतर फलों के लिए हनुमानजी को मंगलवार सूर्योदय के समय लाल गुलाब, लाल चुन्नी और हनुमान सिंदूर अर्पित करें।
धनु
संतान एव स्वयं की बीमारी के कारण खर्चे बढ़ेंगे इसलिये शरीर स्वास्थ्य तथा धन से सम्बंधित मामलों में सावधानी बरतें। अचानक धनलाभ की संभावना भी बन रही है। पिछले समय के व्यस्तता से कुछ आराम मिलेगा पर लग्नेश गुरु मंगल के साथ छठे भाव में होने से स्वास्थ्य के प्रति लापरवाही न बरतें। भाग्य का साथ कम मिलेगा जसके चलते मानसिक चिंता का कारण बनेगा। रविवार सूर्योदय से रोजाना सूर्य को जल और लाल पुष्प से अर्घ प्रदान करें जिससे भाग्य का साथ बना रहे।
मकर
मकान की मरम्मत या संतान पर धन व्येय होगा फिरभी आप खुश मिजाज बने रहेंगे। व्यापार से हुए धनलाभ के कारण मुनाफा बढेगा। चारों और से लाभ की सूचना मिलने के संकेत है। इस दौरान परिवार के किसी सदस्य से अनबन हो सकती है जिसके चलते कुछ दिनों तक मन में असंतोष हावी होगा। इस समय विवादों से बचने का प्रयास करें और किसी धर्म स्थल में कुछ समय व्येतित करें। शुभ फलों की प्राप्ति के लिए शनिवार शाम को शनिदेव को नीले पुष्प और तिल तेल का दीपक चढ़ाएं तथा संभव हो तो अमावस के दिन काली माता को गुड़हल के पुष्पों से पूजा करें।
कुंभ
जीवनसाथी से भरपूर सहयोग मिलता रहेगा जिसके चलते परिश्रम करने पर भी आपको आराम का अनुभव होगा पुराने दोस्तों से मुलाकात या फोन पर बातचीत से मन में आनंद का अनुभव होगा। भाग्य का साथ लगातार बना रहेगा जिसके चलते कामकाज में रुकावट नही होगी। लंबी यात्रा के लिए ये समय अनुकूल है। काम काज में सफलता मिलेगी तथा धन लाभ के आसार बनेंगे। शुभ फलों की प्राप्ति के लिए शनिवार शाम को शनिदेव को नीले पुष्प और तिल तेल का दीपक चढ़ाएं तथा संभव हो तो अमावस के दिन काली माता को गुड़हल के पुष्पों से पूजा करें।
मीन
काफी समय से व्यापार ठप्प होने के कारण जो प्रतिकूल समय था वो अब धीरे धीरे अनुकूल होगा। पिछले दिनों प्रेमी या जीवनसाथी अनबन का दौर भी गुजर जाएगा जिसके चलते कुछ शांति के अनुभव करेंगे। धन को आवश्यकता अनुसार खर्च करें वरना आगे चलकर धन को लेकर परेशानी होगी। घर या बाहर अपनी बातचीत पर संयम बरते और तर्क से बचें। शुभ फलों की प्राप्ति के लिए गुरुवार को श्री कृष्ण को पीले फूल और किसी बुजुर्ग ब्राम्हण को पीली धोती और पिला उपवस्त्र प्रदान करें। मास मछली तथा मांसाहार का करें।
Please do not insert any spam link in the comment box.